जब से इन आँखों ने ,
देखा है तुम्हे।
आँखों में तुम,
सांसो में तुम,
बातो में तुम,
तुम ही तुम रहती हो।
रहने लगी हो तुम।
मेरे ख्यालो में,
मेरे जज्बातों में,
मेरे कामो में,
तुम ही तुम रहती हो।
रहने लगी हो तुम,
मन में ,
तन में,
आत्मा में,
तुम ही तुम रहती हो।
रहने लगी हो तुम।
मेरे एहसास में,
मेरी प्यास में,
मेरे इंतज़ार में,
तुम ही तुम रहती हो।
रहने लगी हो तुम।
मेरी चाहत में,
मेरी दुआओ में,
पर तुम्हे पता नही।
जब से इन आँखों ने ,
देखा है तुम्हे।
तुम ही तुम रहती हो।
Thank you friend
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